उत्तर प्रदेश में कृषि श्रमिकों की मजदूरी में हुई बढ़ोतरी, प्रतिमाह बढ़कर मिलेगा मानदेय
UP News : उत्तर प्रदेश में योगी सरकार ने कृषि क्षेत्र में कामगारों के लिए बड़ी घोषणा की है। कृषि क्षेत्र में कामगारों की मजदूरी को लेकर बड़ी अपडेट सामने आई है। प्रदेश के कृषि क्षेत्र के कामगारों को मिलेगी ज्यादा मजदूरी.
Uttar Pradesh News : उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने कृषि क्षेत्र के कामगारों की मजदूरी की न्यूनतम दरें अब तय कर दी हैं। सूबे की योगी सरकार ने प्रदेश में कृषि क्षेत्र में नियोजित कर्मचारियों को 1 अप्रैल 2024 से मजदूरी की न्यूनतम डेरी निर्धारण व पुनरीक्षित कर दी है. प्रदेश के कृषि क्षेत्र के कामगारों को बड़ी राहत प्रदान क़ी गई हैं।
प्रदेश में श्रम विभाग के प्रमुख सचिव अनिल कुमार की ओर से इस संबंध में 9 जुलाई को अधिसूचना जारी करती गई है। इस अधिसूचना में कहा गया है कि व्यशक कर्मगारों के लिए मजदूरी की न्यूनतम दूरी 6162 रुपए प्रति महीने यह इसके अलावा 237 रुपए प्रतिदिन निर्धारित की गई है. उत्तर प्रदेश में किशोर और बालकों को भी संदेह मजदूरी की न्यूनतम दरें किसी भी व्यस्त कर्मकारों को अनुमान ने कल अनुपाती दर से काम नहीं होगी।
180 रुपए प्रति महीने की हुई बढ़ोतरी
प्रदेश में इस बार 180 रुपए प्रति महीने की बढ़ोतरी हुई है. उत्तर प्रदेश में पहले कृषि श्रमिकों की न्यूनतम मजदूरी 26 में 2023 प्रति महीने 5980 और हर दिन के हिसाब से ₹230 निर्धारित की गई थी। प्रदेश में अब कृषि श्रमिकों को प्रति महीने ₹120 अधिक मजदूरी मिलेगी.
कृषि कार्य में परिभाषित कार्यों में भूमि जोतने और बोने, कृषि उत्पादन, खेती, कृषि उत्पादों का उगाना और काटना, उनकी तैयारी और भंडारण, उन्हें मंडी में वितरण या मंडी तक ले जाना शामिल है। इसके अलावा, मशरूम की खेती सहित कृषि कार्यों से जुड़े या उनके साथ किए जाने वाले सभी आकार के फार्मों में, म्यूनिसिपल या कैन्ट्नमेंट सीमाओं के छः किलोमीटर के भीतर स्थित फॉर्म भी शामिल हैं।
वहीं दुग्ध उद्योग, पशुधन में वृद्धि, मधुमक्खी पालन, कुक्कुट पालन और उनकी अनुषांगिक क्रियाएं भी कृषि कार्यों के साथ-साथ वन संबंधी या काष्ठ उपकरण संबंधी हैं। यह भी कहा गया है कि मजदूरी की दरें किसी कर्मचारी के हित के खिलाफ नहीं होंगी; यदि अधिक मजदूरी की दरों का भुगतान किया जा रहा है, तो वह भुगतान किया जाएगा।