उत्तर प्रदेश में 21 गांवों की जमीन अधिग्रहण कर चौड़ा किया जाएगा ये हाईवे, 2 राज्यों का सफर होगा आसान

Uttar Pradesh : उत्तर प्रदेश और हरियाणा के बीच की दूरी जल्द ही आसान हो जाएगी। अलीगढ़-पलवल रोड को नवीनीकरण और चौड़ीकरण करने के लिए सरकारी प्रयास चल रहे हैं। इस मार्ग के निर्माण के लिए अलीगढ़ जिले के ३१ गांवों से ज़मीन अधिग्रहण की जरूरत है। इनमें से पिछले दिनों 17 गांवों को पुरस्कार दिए गए। चार और गाँवों के लिए पुरस्कार बनाए गए हैं। यह भी एक-दो दिन में घोषित होगा। इन 21 गांवों में 600 करोड़ रुपये से अधिक का मुआवजा 160 हेक्टेयर से अधिक जमीन पर दिया जाएगा। चिह्नित गांवों में प्रशासन ने शिविर लगाने शुरू कर दिए हैं। शेष दस गांवों के पुरस्कार भी जल्द ही घोषित किए जाएंगे।
पलवल रोड को छह वर्ष पहले लोक निर्माण विभाग ने फोरलेन बनाया था। 85 किमी लंबी सड़क बनाने में लगभग 552 करोड़ रुपये खर्च हुए। रास्ते को लोक निर्माण विभाग ने कुछ दिन बाद भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआइ) को सौंप दिया। लेकिन खैर-जट्टारी बाइपास बन नहीं सका। दोनों कस्बों में जाम है। यहां के लोग बाइपास चाहते थे।
भूमि अधिग्रहण पर खर्च होंगे, 1500 करोड़ रुपये
पिछले दिनों केंद्रीय स्तर ने मार्ग को नवीनीकरण और चौड़ीकरण करने का फैसला किया है। इसके निर्माण के लिए ढाई हजार करोड़ रुपये का बजट स्वीकृत किया गया है। भूमि अधिग्रहण पर लगभग 1500 करोड़ रुपये खर्च होंगे। मार्ग को चौड़ी करने के लिए जिले के 31 गांवों से जमीन लेनी होगी। जिला प्रशासन ने चिह्नित भूमि को पुरस्कार देना शुरू कर दिया है। पहले चरण में 17 गांवों को पुरस्कार देकर 550 करोड़ रुपये का मुआवजा निर्धारित किया गया था। चार गांव अब सम्मानित और तैयार हैं। इनमें लगभग पच्चीस करोड़ रुपये मुआवजा बंटेगा।
इन गांवों को बांटा गया, मुआवजा
अर्राना, उदयगढ़ी, बांकनेर, गनेशपुर, नगला अस्सू, उसरह रसूलपुर, बुलाकीपुर, चौधाना, जरारा, ऐंचना, लक्ष्मणगढ़ी, राजपुर, रेसरी, जलालपुर, हीरपुरा, खेड़िया बुजुर्ग, इतवारपुर, डोरपुरी, श्यौराल, हामिदपुर व रसूलपुर।
इन जिलों को मिलेगा, बड़ा फायदा
चौड़ा होने से उत्तर प्रदेश और हरियाणा के कई जिलों को लाभ होगा। दिल्ली-एनसीआर जाना आसान होगा। नया राजमार्ग यमुना एक्सप्रेसवे से पलवल में ईस्टर्न फेरिफेरल इंटरचेंज से जुड़ेगा, अधिकारियों ने बताया। अलीगढ़ से आसानी से आगरा, मथुरा, दिल्ली, एनसीआर, ग्रेटर नोएडा, पलवल और गुरुग्राम तक जाना होगा।
मार्च 2025 से शुरू होगा, इस एक्सप्रेसवे का निर्माण
अलीगढ़-आगरा ग्रीन फील्ड एक्सप्रेस-वे के निर्माण में तेजी आई है। यह राजमार्ग अलीगढ़-हाथरस जिले के 64 गांव से गुजरेगा। इसमें अलीगढ़ जिले के 14 गांव शामिल हैं। इन गांवों में संपत्ति और संपत्ति का मूल्यांकन प्रशासन स्तर से किया जा रहा है। सर्वे पूरा होते ही पुरस्कार घोषित किया जाएगा। मार्ग का निर्माण मार्च 2025 से शुरू होने का लक्ष्य है।
यह एक्सप्रेस-वे जिले में दो तहसीलों के सीमा क्षेत्र से गुरजेगा, एडीएम प्रशासन पंकज कुमार ने बताया। इसमें कोल तहसील के हाजीपुर चौहटा, दयानतपुर, रसीला, बढ़ौली फतेह खां, मनोहरपुर कायस्थ, मईनाथ, समस्तपुर कीरत और इगलास तहसील के पढ़ील, बैरमगढ़ी, तोछीगढ़, कनौरा और असरोई शामिल हैं। इन गांवों को सत्तर हेक्टेयर जमीन दी जाएगी। करीब 321 गाटा सूचीबद्ध हैं। इस हाईवे पर एक रेलवे ब्रिज, तीन फ्लाईओवर और 55 अंडरपास बनाए जाएंगे।