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उत्तर प्रदेश के इन 22 जिले और 37 तहसील से गुजरेगा यह नया एक्सप्रेसवे, 35 हजार करोड़ होंगे खर्च

UP News -यूपी में कनेक्टिविटी को बेहतर बनाने के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं। फिलहाल, राज्य में लंबे एक्सप्रेसवे का निर्माण हो रहा है। प्राप्त जानकारी के अनुसार, उत्तर प्रदेश के 22 जिलों और 37 तहसीलों से ये नए राजमार्ग गुजरेंगे..।35 हजार करोड़ का खर्च होगा। 

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This new expressway will pass through these 22 districts and 37 tehsils of Uttar Pradesh, Rs 35 thousand crores will be spent

UP News - उत्तर प्रदेश में कनेक्टिविटी को और बेहतर बनाने के लिए निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं। प्रदेश की कनेक्टिविटी को बढ़ाने के लिए बहुत सारे एक्सप्रेसवे बनाए जा रहे हैं। योगी सरकार ने एक्सप्रेस-वे पर बहुत काम किया। अब राज्य में लंबे एक्सप्रेसवे का निर्माण हो रहा है। दावा किया जा रहा है कि इसे भी रिकॉर्ड समय पर पूरा किया जाएगा। आपको बता दें कि फिलहाल उत्तर प्रदेश में सबसे लंबी सड़क पूर्वांचल सड़क है। इसकी लंबाई गंगा एक्सप्रेसवे से अधिक होगी।

अब आप सोच रहे होंगे कि क्या उत्तर प्रदेश में सबसे लंबी रेलवे पूर्वांचल होगी? अगर नहीं, तो उत्तर प्रदेश में सबसे लंबी ट्रेन कौन सी है?आप जानते हैं।

गोरखपुर-शामली राजमार्ग खास होगा-

बता दें कि गोरखपुर-शामली राजमार्ग उत्तर प्रदेश का सबसे लंबा राजमार्ग होगा। गोरखपुर-शामली ग्रीनफील्ड इकोनॉमिक कॉरिडोर का निर्माण करीब 35 हजार करोड़ रुपये का होगा। इस ग्रीनफील्ड इकोनॉमिक कॉरिडोर पर भी जल्द ही काम शुरू होगा। कुछ खबरों के अनुसार, लोकसभा चुनाव से पहले उत्तर प्रदेश का सबसे लंबा एक्सप्रेसवे बनाया जा सकता है। केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कुछ दिन पहले इस एक्सप्रेस-वे का निर्माण मंजूर किया था। 700 किलोमीटर लंबे एक्सप्रेसवे का रास्ता भी तैयार है।

गोरखपुर-शामली एक्सप्रेसवे, जो उत्तर प्रदेश के 22 जिलों और 37 तहसीलों से गुजरेगा, अब CIBIL स्कोर को कम करेगा। नेशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया इस एक्सप्रेसवे को बनाएगा। NHI ने इसे लेकर तैयारियां शुरू कर दी हैं।

जानें उत्तर प्रदेश में निर्माणाधीन एक्सप्रेस-वे -

मार्ग का नाम और लंबाई: गोरखपुर-शामली एक्सप्रेसवे 700 किलोमीटर, गंगा एक्सप्रेसवे 594 किलोमीटर, गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे 91.35 किलोमीटर, दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे 212 किलोमीटर, अपर गंगा कैनाल एक्सप्रेसवे 150 किलोमीटर, लखनऊ-कानपुर एक्सप्रेसवे 62.76 किलोमीटर है।

भारत-नेपाल बॉर्डर से गुजरेगा एक्सप्रेसवे—

गोरखपुर-शामली एक्सप्रेसवे छह लेन का होगा और 700 किलोमीटर का होगा। गोरखपुर-शामली इकोनॉमिक कॉरिडोर उत्तर प्रदेश का तीसरा सबसे बड़ा राजमार्ग होगा। यह राजमार्ग भारत-नेपाल बॉर्डर से गुजरेगा। इससे बॉर्डर के आसपास के क्षेत्रों में संपर्क बढ़ेगा। इतना ही नहीं, राजमार्ग सुदूर इलाकों और उत्तर प्रदेश सहित पूरे देश से जुड़ जाएगा।

22 जिलों को लाभ मिलेगा-

गोरखपुर शामली एक्सप्रेसवे से पूर्वांचल और पश्चिम उत्तर प्रदेश के कई जिले जुड़ेंगे। 22 जिले इस इकोनॉमिक कॉरिडोर से लाभ उठाएंगे। गोरखपुर शामली एक्सप्रेसवे गोरखपुर से गुजरकर संतकबीरनगर, सिद्धार्थनगर, बलरामपुर और बहराईच से लखनऊ जाता है। लखनऊ से शुरू होने वाली राजमार्ग सीतापुर, शाहजहांपुर, हरदोई, बदायूं, रामपुर, मुरादाबाद, बरेली, संभल, बिजनौर, अमरोहा, मेरठ, सहारनपुर और मुजफ्फरनगर से होकर शामली पहुंचेगा। यह एक्सप्रेसवे भी इस मार्ग पर 37 तहसीलों को जोड़ेगा।

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