इस तरह बांटी है 'भूकंप-रोधी' इमारतें, जानिए लगता है कौन सा मटिरियल
Eearthquake Resistant Building: आज दोपहर 2 बजकर 51 मिनट पर दिल्ली-एनसीआर समेत उत्तर भारत में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। लोगों को इतना डर था कि वे घरों और कार्यस्थलों से भाग गए। वास्तव में, जब भूकंप आता है तो घरों और इमारतों को सबसे अधिक खतरा होता है, क्योंकि बड़ी इमारतें एक झटके में गिर जाती हैं, इसलिए आपको भूकंप रोधी घर बनाना या खरीदना चाहिए।
लेकिन, भूकंप रोधी मकान बनाने के लिए किस तरह का कंस्ट्रक्शन मटेरियल प्रयोग किया जाता है? वहीं, भूकंपरोधी घर या फ्लैट खरीद रहे हैं तो इसे कैसे जानें? हम इसे विस्तार से बताते हैं।
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क्या होते हैं भूकंप रोधी घर? भूकंप रोधी घर भूकंप के झटकों का बहुत कम असर करते हैं। वास्तव में, ऐसे घरों को भूकंप से बचाने के लिए विशेष प्रकार का लेआउट बनाया जाता है। लेकिन भूकंप रोधी इमारतें भूकंप में नहीं गिरती हैं। क्योंकि भूकंप से बड़े-बड़े शहर बर्बाद हो जाते हैं। भूकंपरोधी इमारतें बिल्कुल सही हैं।
भूकंपरोधी मकान बनाने का तरीका: भूकंपरोधी घर और इमारतें उच्च गुणवत्ता की सामग्री और बीम से बनाई जाती हैं, जो उनकी मजबूती को भूकंप के झटकों से बचाता है। भूकंप प्रतिरोधी इमारत बनाना सबसे महत्वपूर्ण है। आइसोलेशन इसे मजबूत कर सकता है। बेस आइसोलेशन दरअसल भूकंप के दौरान इमारत की नींव हिलती है लेकिन वह स्थिर रहती है।
भूकंपरोधी घर बनाने के लिए फ्रेम स्ट्रक्चर बनाए जाते हैं, जिससे पूरी इमारत कॉलम पर खड़ी होती है। क्रॉस ब्रेसिज और शीयर वॉल तकनीक से इमारत का निर्माण मजबूत होता है। कई पैनलों से बना शीयर वॉल भूकंप के झटकों को रोकने में बहुत महत्वपूर्ण है। वहीं, निर्माण को मजबूत बनाने के लिए मोमेंट-रेसिस्टेंट फ्रेम और डायाफ्राम भी उपयोग किए जाते हैं।
कितने पैसे खर्च होंगे? यह सवाल अक्सर लोगों के मन में रहता है कि भूकंपरोधी महंगे हैं या इन्हें बनाने पर अधिक पैसा खर्च होता है। भूकंपरोधी घरों का निर्माण सामान्य घर से केवल 10 से 15 प्रतिशत अधिक खर्च होता है, जैसा कि भूकंप सुरक्षा से जुड़े जानकारों का कहना है।
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