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बिहार में 455 एकड़ जमीन पर नालंदा का नया आत्मनिर्भर कैंपस तैयार, 1900 छात्र पढ़ सकेंगे

Nalanda University Campus : बिहार का नालंदा भारत के ज्ञान केंद्र के रूप में जाना जाता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को बिहार में नए नालंदा विश्वविद्यालय परिसर का उद्घाटन किया. प्राचीन खंडहरों के नजदीक नालंदा विश्वविद्यालय के नए परिसर पर 1749 करोड रुपए की लागत आएगी। 

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बिहार में 455 एकड़ जमीन पर नालंदा का नया आत्मनिर्भर कैंपस तैयार, 1900 छात्र पढ़ सकेंगे

Bihar News : बिहार के नालंदा विश्वविद्यालय का अपना ही एक ऐतिहासिक महत्व है। इस विश्वविद्यालय में लोग दूर-दूर से पढ़ने आते थे। बिहार के राजगीर में नालंदा विश्वविद्यालय विद्वानों का केंद्र माना जाता था। इस ऐतिहासिक विश्वविद्यालय के नए परिसर के उद्घाटन समारोह में बिहार के CM नीतीश कुमार सहित 17 देश के राजनयिक भी शामिल थे। 

455 एकड़ जमीन पर 1749 करोड रुपए की लागत

नालंदा विश्वविद्यालय के पुराने कैंपस को 800 साल पहले आक्रमण कार्यों के द्वारा नष्ट कर दिया गया था। नालंदा विश्वविद्यालय का नया कैंपस 455 एकड़ जमीन पर 1749 करोड रुपए की लागत से बनवाया जाएगा। इस नालंदा विश्वविद्यालय में मौजूदा समय में 26 देश के विद्यार्थी अध्ययन कर रहे हैं। बनने वाले नए विश्वविद्यालय में विशाल लाइब्रेरी बनवाई जाएगी. 

1,749 करोड़ रुपये की लागत से बनाया गया यह नया परिसर दो अकैडमिक ब्लॉकों से बना है। इन्हें चालिस क्लासरूम मिलते हैं। लगभग 1900 विद्यार्थियों के बैठने की व्यवस्था यहाँ है। नए कैम्पस में दो ऑडिटोरियम (300 सीट) और लगभग 550 विद्यार्थियों के रहने के लिए एक छात्रावास भी हैं। कैंपस में एक अंतरराष्ट्रीय केंद्र, एक फैकल्टी क्लब, एक स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स और 2000 लोगों का एम्फीथिएटर भी हैं।

यह विश्वविद्यालय विश्व का सबसे बड़ा नेट जीरो ग्रीन परिसर है

यहां पर 1900 विद्यार्थी पढ़ सकेंगे. यह विश्वविद्यालय विश्व का सबसे बड़ा नेट जीरो ग्रीन परिसर है. इस प्रेशर में काफी सुविधा उपलब्ध हैं। विश्वविद्यालय परिसर में सोलर प्लांट पानी का ट्रीटमेंट प्लांट रीसाइकलिंग प्लांट और 100 एकड़ में जल निकाय मौजूद है। तकनीकी से बनाई गई इन इमारत में  गर्मियों के मौसम में ठंडी सर्दियों के मौसम में गर्म रहेगी। 

देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नालंदा विश्वविद्यालय के बारे में बोला की नालंदा सत्य का उद्घोष है क़ी आपकी लब पे ज्ञान नहीं मिटा सकती। नए परिसर के उद्घाटन से पहले नालंदा की खंडहरों का पीएम ने दौरा भी किया.

उन्होंने कहा- 'नालंदा केवल एक नाम नहीं है। यह गौरव गाथा है। नालंदा सत्य का उद्घोष है कि आग की लपटें ज्ञान नहीं मिटा सकतीं। यह मेरा मिशन है कि भारत दुनिया के सबसे प्रमुख ज्ञान केंद्र के रूप में फिर उभरे।

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