उत्तरप्रदेश में 283 किलोमीटर लंबी रेल लाइन का होगा दोहरीकरण, सर्वे कार्य हुआ पूरा
UP News : उत्तर प्रदेश में रेलवे विकास को लेकर सरकार की तरफ से बड़ी पहल की गई है। उत्तर प्रदेश में 283 किलोमीटर लंबी रेलवे लाइन के दोहरीकरण की तैयारी अब तेज कर दी गई है। परियोजना की रूपरेखा तैयार हो चुकी है और आवश्यक सर्वेक्षण से लेकर तकनीकी औपचारिकताएं पूरी की जा चुकी हैं.

Uttar Pradesh News : उत्तर प्रदेश में रेलवे विकास के तहत 283 किलोमीटर लंबी रेलवे लाइन के दोहरीकरण की योजना पर कार्य तेज़ी से आगे बढ़ रहा है। इस परियोजना की रूपरेखा तैयार हो चुकी है, और आवश्यक सर्वेक्षण तथा तकनीकी औपचारिकताएं पूरी की जा चुकी हैं। रेलवे विकास निगम लिमिटेड ने बरेली-चंदौसी-अलीगढ़ और चंदौसी-मुरादाबाद की रेल लाइनों के दोहरीकरण की तैयारी पूरी कर ली है, जो उत्तर भारत के रेलवे ढांचे को मजबूत करेगी। परियोजना की योजना तैयार हो चुकी है और तकनीकी प्रक्रियाएं पूरी की जा चुकी हैं। वर्तमान वित्तीय वर्ष 2025–26 में इस महत्वाकांक्षी कार्य की शुरुआत होने की पूरी उम्मीद है।
स्वीकृत परियोजनाओं को प्राथमिकता देने का रुख
केंद्र सरकार ने दो वर्ष पहले इन दोनों रेलवे रूटों के दोहरीकरण की अनुमति दी थी, लेकिन कुछ कारणों से निर्माण कार्य शुरू नहीं हो सका। 2023-24 के बजट में इन योजनाओं को आवश्यक धन दिया गया था। रेलवे मंत्रालय ने इस बार नई परियोजनाओं की घोषणा करने से अधिक, पहले से ही स्वीकृत परियोजनाओं को प्राथमिकता देने का रुख अपनाया है। बरेली से चंदौसी 69 किलोमीटर दूर है, चंदौसी से अलीगढ़ 168 किलोमीटर दूर है और चंदौसी से मुरादाबाद लगभग 45 किलोमीटर दूर है। पूरे काम को तीन चरणों में पूरा किया जाएगा। निर्माण कार्य की शुरू होने की तारीख अभी जारी नहीं की गई है, लेकिन तैयारियों की गति को देखते हुए अनुमान लगाया जाता है कि कार्य आगामी महीनों में शुरू हो जाएगा।
दोहरीकरण का सर्वे जल्द शुरू
बरेली-चंदौसी-अलीगढ़ और चंदौसी-मुरादाबाद रूट पर वर्तमान में एकमात्र रेल लाइन चलती है, इसलिए इन रूटों पर ट्रेनों की संख्या सीमित रहती है। दोहरीकरण से ट्रेनों की संख्या और सफर में लगने वाला समय भी कम होगा। डबल लाइन की उपलब्धता से उत्तर भारत को पश्चिमी और दक्षिण भारत के कई क्षेत्रों से सीधा और सुगम कनेक्शन मिलेगा, विशेष रूप से अलीगढ़ जैसे प्रमुख जंक्शन तक। अब इज्जतनगर मंडल के अंतर्गत आने वाली कासगंज-मथुरा रेल लाइन भी रेल मंत्रालय का ध्यान है। यह 105 किलोमीटर लंबी रूट अभी तक सिंगल लाइन पर निर्भर है, लेकिन 2025 के बजट में इसके दोहरीकरण के लिए भी अनुमति मिल चुकी है. सीनियर डीसीएम संजीव शर्मा ने बताया कि इस रूट के दोहरीकरण का सर्वे जल्द शुरू होगा। इस काम के पूरा होने से कासगंज से मथुरा तक रेल संपर्क और आसान हो जाएगा।
कासगंज-मथुरा रेल लाइन का दोहरीकरण भी जल्द ही पूर्वोत्तर रेलवे इज्जतनगर मंडल के तहत शुरू होगा। इसी वर्ष बजट में 105 किमी. की रेल लाइन को दोहरीकरण की अनुमति दी गई है। यह लाइन अब तक सिंगल है। दोहरी लाइन बनने के बाद कासगंज से दक्षिण, पूर्वी और पश्चिमी भारत के रेलवे नेटवर्क को मजबूत किया जाएगा। दोहरीकरण का सर्वे जल्द शुरू होगा।