देश में बने रहे 21 एक्सप्रेसवे, 9 के खुलने का समय आया करीब, जानिए इन शहरों में कब खुलेंगे राष्ट्रीय राजमार्ग
Greenfield Expressway : भारत में लगातार एक्सप्रेसवे की कोनक्टिविटी बढ़ती जा रहा है। यही कारण है कि लोग ट्रेनों के माध्यम से दूर जाने के बजाय सड़कों पर जाना ज्यादा पसंद करते हैं। इस दौरान एक्सप्रेसवे पर चलने वाले लोगों के लिए खुशखबरी है। दिल्ली-देहरादून, दिल्ली-अमृतसर, कानपुर-लखनऊ और दिल्ली-देहरादून सहित नौ राजमार्गों पर वाहन चालक बहुत ही जल्द कनेक्टिविटी का लाभ ले सकेंगे। यह भी बताया गया है कि वे कब तैयार होंगे। इस लिस्ट में आपके क्षेत्र से गुजरने वाली सड़क भी शामिल है।
सड़क परिवहन मंत्रालय फिलहाल देश भर में 21 ग्रीन फील्ड एक्सप्रेसवे को बनाया जा रहा है। इन सभी एक्सप्रेसवे की कुल लंबाई 8288 किमी. है। वर्ष 2022 में ये सभी एक्सप्रेसवे बनने शुरू हुए हैं। अगले साल मार्च तक इनमें से नौ एक्सप्रेसवे बनकर यात्रियों के लिए तैयार हो जाएंगे। जिनकी 2777 किमी की लंबाई बताई जा रही है। सड़क परिवहन मंत्रालय ने निर्माणाधीन सभी एक्सप्रेसवे की समय सीमा को बदल दिया है।
इन एक्सप्रेसवे को किया जाएगा, जल्द तैयार
अहमदाबाद –धोलेरा, बेंगलुरू-चेन्नई, दिल्ली – अमृतसर-कटरा,कानपुर-लखनऊ, अंबाला कोटपुतली ( तैयार हो चुका है), हैदराबाद- विशाखापट्टनम, यूआर सेकेंड, दिल्ली-सहारनपुर-देहरादून और नागपुर-विजयवाड़ा, कोटा-उज्जैन- इंदौर 2024 तक बना दिया जाएगा।
ये हैं 21 एक्सप्रेसवे
दिल्ली-मुंबई, अहमदाबाद –धोलेरा, बेंगलुरू-चेन्नई, दिल्ली – अमृतसर-कटरा,कानपुर-लखनऊ, अंबाला कोटपुतली,अमृतसर-जामनगर, रायपुर-विशाखापट्टनम, हैदराबाद- विशाखापट्टनम, यूआर सेकेंड, चित्तौड़ थैचूर, बेंगलुरू रिंग रोड, दिल्ली-सहारनपुर-देहरादून, ,दुर्ग रायपुर-आरंग, सूरत-नासिक-अहमदाबाद सोलापुर, सोलापुर—कुरनूल-चेन्नई , इंदौर-हैदराबाद, कोटा-इंदौर, बेंगलुरू-विजयवाड़ा, वाराणसी-रांची-कोलकाता और नागपुर-विजयवाड़ा एक्सप्रेसवे को अभी बनाया जा रहा है।
वर्ष 2026 तक फराटा भरेंगे, वाहन
सड़क परिवहन मंत्रालय ने बताया कि बेंगलुरु से लेकर विजयवाड़ा और वाराणसी-रांची-कोलकाता एक्सप्रेसवे का निर्माण 2026-27 के बीच कर दिया जाएगा। इसके अलावा बाकी बचे हुए एक्सप्रेसवे का निर्माण 2025-26 तक कर लिया जाएगा
इस वजह से हो रही, निर्माण कार्य में देरी
इनमें से कुछ मार्गों को देरी से बनाया जा रहा है। सड़क परिवहन मंत्रालय ने कहा कि भूमि अधिग्रहण, पर्यावरण और वन विभाग की मंजूरी में देरी, राजस्व संबंधी या अन्य अप्रत्याशित घटनाओं की वजह से निर्माण में देरी होती है। प्रशासन द्वारा इन नौ राजमार्ग को समय पर बना दिया जाएगा।